‘साहित्य और स्त्री सशक्तिकरण’ विषय पर सोमा बंद्योपाध्याय ने रखें अपने विचार

‘साहित्य और स्त्री सशक्तिकरण’ विषय पर प्रो. सोमा बंद्योपाध्याय ने रखें अपने विचार

Kolkata Hindi News, कोलकाता। साहित्य अकादमी, संस्कृति मंत्रालय- भारत सरकार द्वारा विश्व के सबसे बड़े ‘साहित्योत्सव’ का आयोजन किया गया। 11 मार्च से 16 मार्च 2024 तक आयोजित इस ‘साहित्योत्सव’ में 1100 से अधिक साहित्यकारों ने प्रतिभागिता की। 60 पृष्ठों में इस कार्यक्रम के वक्ताओं की सूची एवं कार्यक्रम का विवरण प्रकाशित किया गया।

कई सत्रों में आयोजित इस वृहत साहित्यिक कुंभ में 175 भाषाओं का प्रतिनिधित्व हुआ। इस महत्त्वपूर्ण आयोजन में पश्चिम बंगाल से हिंदी जगत की नक्षत्र आदरणीय प्रोफेसर सोमा बंद्योपाध्याय ने भी ‘साहित्य और स्त्री सशक्तिकरण’ विषय पर अपना सुचिंतित एवं प्रेरक वक्तव्य रखा।

‘साहित्य और स्त्री सशक्तिकरण’ विषय पर सोमा बंद्योपाध्याय ने रखें अपने विचार

सोमा बंद्योपाध्याय, जो स्वयं साहित्य अकादमी के द्वारा अनुवाद के क्षेत्र के योगदान के लिए पुरस्कृत हैं तथा जिन्हें साहित्य, समाज, शिक्षा और प्रशानिक क्षेत्र में अतुलनीय योगदान के लिए सशक्त स्त्री चरित्र स्वीकारते हुए ‘ अपराजिता पुरस्कार’ से भी सम्मानित किया गया है।

ज्ञातव्य हो कि आदरणीय सोमा बंद्योपाध्याय की 35 पुस्तकें तथा 200 से अधिक शोध आलेख प्रकाशित हो चुके हैं। उन्होंने महत्वपूर्ण क्लासिक पाठों का अनुवाद कार्य किया है, कई पत्रिकाओं के विशिष्ट अंकों एवं पुस्तकों का संपादन भी किया है।

‘साहित्य और स्त्री सशक्तिकरण’ विषय पर सोमा बंद्योपाध्याय ने रखें अपने विचार

इसके साथ ही साथ 500 से अधिक राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय संगोष्ठियों में व्याख्यान भी प्रस्तुत कर चुकी हैं। साहित्य सृजन, समाज में लोकहित के कार्य, विश्वविद्यालयी शिक्षण, कुलपति पद पर विराजमान होकर प्रशासनिक कार्यों का निष्पादन तथा अन्य सभी भूमिकाओं का पालन उन्होंने पूरी सक्रियता एवं ऊर्जा के साथ किया है।

ताज़ा समाचार और रोचक जानकारियों के लिए आप हमारे कोलकाता हिन्दी न्यूज चैनल पेज को सब्स्क्राइब कर सकते हैं। एक्स (ट्विटर) पर @hindi_kolkata नाम से सर्च कर, फॉलो करें।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *