राजीव कुमार झा की कविता : दोपहर
दोपहर तुमने साहस से खुद को आज पुकारा, हम कहाँ मिलेंगे शायद घर के बाहर।
डीपी सिंह की रचनाएं
जाना होगा जेल यदि, लिया वास्तविक नाम ममता को कुछ बोलते, होता काम तमाम होता
भक्तिकाल के महान संत कबीरदास जी की जयंती पर विशेष
Kolkata Desk : संत कबीरदास का जन्म ज्येष्ठ मास की पूर्णिमा के दिन संवत् 1455
डीपी सिंह की रचनाएं
*कुण्डलिया* पप्पू निस्सन्देह ही, है शिवभक्त महान। शिव ने जिसको दे रखा, भस्मासुर-वरदान।। भस्मासुर-वरदान, इसे
रीमा पांडेय की कविता : जय माँ गंगे
जय माँ गंगे पावन तुम हो हे माँ गंगे उठती रहती तरल तरंगें निशदिन तेरा
राजीव कुमार झा की कविता : सुबह
सुबह सारे लोग जग गये फूल खिल कर महक रहे, हरे भरे पेड़ धूप में
काव्य पटल पर हर-हर गंगे की गूंज पी कर के तेरा पानी मिट्टी सोना रूप दिखाये – पुकार गाजीपुरी
गंगा दशहरा व पितृ दिवस के अवसर पर, राष्ट्रीय कवि संगम पश्चिम बंगाल के सेंट्रल
गंगा दशहरा और पितृ दिवस पर राष्ट्रीय कवि संगम पश्चिम बंगाल द्वारा भव्य काव्य गोष्ठी सम्पन्न
Kolkata Desk : राष्ट्रीय कवि संगम पश्चिम बंगाल ने अपने राष्ट्रीय कवि धर्म का निर्वहन
उत्तीर्णा धर की कविता : पत्ते
“पत्ते” प्रथम में हल्का हरे रंग का लाल लाल , जैसे हरियाली में ढल गया
(Father’s Day Special) अभिषेक पाण्डेय की कविता : पापा की बातें
पापा की बातें पापा की बातें फैली रहती हैं पूरे घर में पर इन बातों