बंगाल : रिसड़ा में अब भी निषेधाज्ञा लागू, इंटरनेट सेवाएं निलंबित

रिसड़ा पश्चिम बंगाल में हुगली जिले के हिंसा प्रभावित रिसड़ा शहर में पुलिस बल की भारी तैनाती के बीच निषेधाज्ञा अब भी लागू है और इंटरनेट सेवाएं बंद हैं। पुलिस ने बुधवार को बताया कि जिले में कहीं से भी हिंसा या आगजनी की कोई घटना होने की खबर नहीं है। चंदननगर पुलिस आयुक्तालय के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया, ‘‘स्थिति नियंत्रण में हैं। जिले में कहीं से भी किसी तरह की गड़बड़ी की कोई खबर नहीं है। महत्वपूर्ण स्थानों और क्षेत्रों में हमारे बल तैनात हैं। किसी को भी बिना किसी उद्देश्य के घूमने की अनुमति नहीं है। हम सामान्य स्थिति बहाल करने की कोशिश कर रहे हैं।’’

उन्होंने यह भी कहा कि रविवार की हिंसा में कथित संलिप्तता के लिए कई लोगों को गिरफ्तार किया गया है। वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि निषेधाज्ञा वापस लेने और क्षेत्र में इंटरनेट सेवाओं पर लगी रोक हटाने संबंधी निर्णय स्थिति के आकलन के बाद ही लिया जाएगा। रिसड़ा कस्बे में रविवार की शाम रामनवमी के जुलूस के दौरान झड़प की सूचना मिली थी। जुलूस में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष दिलीप घोष और पुरसुराह सीट से पार्टी के विधायक बिमन घोष मौजूद थे। हिंसा में विधायक घायल हो गए थे और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

पास के श्रीरामपुर शहर के कुछ हिस्सों में भी तोड़-फोड़ की घटनाएं हुईं, जिसके बाद निषेधाज्ञा लागू कर दी गई और इंटरनेट सेवाएं निलंबित कर दी गईं। पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सी वी आनंद बोस ने मंगलवार को अपनी दार्जिलिंग यात्रा बीच में ही रोक दी और स्थिति का जायजा लेने के लिए रिसड़ा आए। बोस जी-20 बैठक में भाग लेने के लिए दार्जिलिंग गए हुए थे।

दार्जिलिंग से रवाना होकर कोलकाता हवाई अड्डे पर उतरने के बाद बोस सीधे हुगली जिले के रिसड़ा पहुंचे। राज्यपाल रेलवे गेट संख्या चार पर गये जहां सोमवार रात हिंसा और आगजनी की घटनाएं हुई थी। उन्होंने वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों और स्थानीय लोगों से बात की और उन्हें आश्वासन दिया कि बदमाशों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

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