Bengal: दिलीप घोष ने कहा-‘बुलाते हैं तब नहीं जातीं अब पीएम का पैर पकड़ने गई हैं ममता’

कोलकाता : भाजपा के अखिल भारतीय उपाध्यक्ष दिलीप घोष और भाजपा नेता अग्निमित्रा पॉल के आसनसोल बर्नपुर के दौरे के दौरान सुबह चाय पर चर्चा के दौरान अचानक तृणमूल के कार्यकर्ता पहुंच कर ‘खेला होबे’ के नारे लगाने लगे।
जिससे तृणमूल और भाजपा कार्यकर्ताओं के बीच बहस शुरू हो गई। इस घटना को लेकर इलाके में तनाव फैल गया। आखिरकार पुलिस ने मौके पर पहुंच कर दोनों पक्षों को बाहर निकाल कर स्थिति को शांत किया। दूसरी ओर, दिलीप घोष ने कहा कि जब प्रधानमंत्री ममता बनर्जी को बुलाते हैं, तो नहीं जाती हैं और अब वह प्रधानमंत्री का पैर पकड़ने गई हैं। उल्लेखनीय है कि ममता बनर्जी चार दिवसीय दौरे पर सोमवार को दिल्ली पहुंची हैं और आज यानी बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ उनकी मुलाकात का कार्यक्रम है।

भाजपा नेता अग्निमित्रा पॉल ने इस घटना को “तृणमूल कार्यकर्ताओं की अशिष्टता” करार दिया। तृणमूल कार्यकर्ताओं ने कथित तौर पर उनकी कार के सामने खड़े होकर चिल्लाना शुरू कर दिया। इस घटना के बारे में अग्निमित्रा ने कहा, “दिलीप घोष आज यहां चाय पर चर्चा के लिए आए थे। अचानक तृणमूल के लोग विरोध प्रदर्शन करने लगे, जबकि पूरे राज्य में भ्रष्टाचार, पुलिस भर्ती में भ्रष्टाचार, शिक्षक भर्ती में भ्रष्टाचार, नर्स भूख हड़ताल पर हैं, डॉक्टर भूख हड़ताल पर हैं।”

मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के दिल्ली सफर और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से प्रस्तावित मुलाकात को लेकर दिलीप घोष ने कटाक्ष किया है। उन्होंने कहा है कि प्रधानमंत्री मोदी जब बैठक के लिए बुलाते हैं तब ममता नहीं जाती हैं और अब जब राज्य भर में समस्याएं हैं तब उनका पैर पकड़ने गई हैं। उन्होंने कहा कि ममता बनर्जी दिल्ली गई हैं और प्रधानमंत्री मोदी तथा गृहमंत्री अमित शाह से मिलने का समय मांगा हैं, लेकिन जब गृहमंत्री अथवा प्रधानमंत्री बैठक के लिए बुलाते हैं तब नहीं जातीं। यहां तक की मुख्य सचिव अथवा जिला अधिकारी भी बुलाते हैं तब भी नहीं जातीं।

राज्य भर में हालात बदतर हैं। कानून व्यवस्था खत्म हो चुकी है। सरकारी दफ्तरों में डीए की मांग पर कर्मचारी धरने पर बैठे हुए हैं। जगह-जगह विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं जिसे पुलिस डंडे के बल पर दबा रही है। स्वास्थ्य साथी कार्ड पर इलाज नहीं मिल रहा। अस्पतालों को भी इलाज का भुगतान राज्य सरकार नहीं कर रही। सरकारी कर्मचारियों का वेतन भी नहीं मिल रहा इसलिए राज्य भर में विरोध हो रहे हैं।अब जब जरूरत पड़ी है तो इससे बचने के लिए दिल्ली गई हैं ताकि प्रधानमंत्री का पैर पकड़ सकें।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

4 × 2 =