कोलकाता/कुलटाली: सोशल मीडिया पर लालच देकर नकली सोने की मूर्तियां बेचने वाले ठग गिरोह कुलटाली में इन दिनों काफी सक्रिय है। पुलिस ने गुप्त सूचना पर छापेमारी कर आग्नेयास्त्र के साथ गिरोह के मुख्य सरगना को गिरफ्तार किया है। हांलाकि कई अन्य आरोपी भागने में सफ़ल रहे। पुलिस ने उसकी तलाश शुरू कर दी है। गौरतलब है सुंदरबन क्षेत्र के अधिकांश निवासी मछुआरे हैं। मछली पकड़ने के कारण उन्हें कभी-कभी बाघ के हमलों का सामना करना पड़ता है। उस हमले से बचने के लिए वे लगातार इष्ट देव को याद करते हैं।
उस भरोसे का फायदा उठाते हुए, उन्हें सोशल मीडिया के माध्यम से संबंध बनाकर नकली सोने की भगवान की मूर्ति खरीदने का लालच दिया गया। आस्था पैदा होते ही कई लोग अपनी सारी संपत्ति लगाकर इस मूर्ति को खरीदने के लिए तैयार हो गए। फिर जब वे मूर्तियां लेने के लिए निश्चित स्थानों पर आते तो बदमाश उन्हें लूटकर भाग जाते। पुलिस सूत्रों के मुताबिक, 2021 से पहले सुंदरवन इलाके में इस तरह की धोखाधड़ी का सिलसिला बढ़ गया था।
फिर पुलिस ने ऑपरेशन चलाकर इस गिरोह में शामिल कुल 28 लोगों को गिरफ्तार कर लिया. फिर यह धोखाधड़ी का सिलसिला कुछ समय के लिए रुका लेकिन हाल ही में यह फिर से शुरू हो गया है। बहुतों को पहले ही धोखा दिया जा चुका है। इस संबंध में कुलतली थाने में कई शिकायतें भी दर्ज करायी गयीं। पुलिस ने इस जालसाज को पकड़ने के लिए जाल बिछाया। ग्राहकों को मूर्तियां खरीदने की पेशकश की जाती है।
उस प्रस्ताव के मुताबिक जामताला चौराहे पर मिलने का समय तय हुआ। उस इलाके में निश्चित समय पर पहले से ही सादे कपड़ों में पुलिस तैनात रहती थी। फिर अचानक दोबारा जगह बदलने की बात कही गई। इसके जलबेरिया चौराहे पर मिलने की बात कही जा रही है। जब ग्राहक पुलिस जलबेरिया बाजार पहुंची तो सादे कपड़ों में पुलिस भी इलाके में पहुंच गई। पुलिस की मौजूदगी को भांपकर बदमाशों ने भागने का प्रयास किया।
पुलिस ने बाइक से पीछा कर तालीमुल नाम के मुख्य पांडा को पकड़ लिया। हालाँकि, गिरोह के बाकी सदस्य भाग निकले। आरोपियों के पास से एक पाइप गन मय कारतूस, एक बाइक और दो मोबाइल फोन बरामद हुए हैं। आरोपी को बारुईपुर कोर्ट में पेश किया गया। इस संबंध में बारुईपुर के एसडीपीओ आतिश विश्वास ने कहा कि इस घटना से बड़ा गिरोह जुड़ा
है। जांच शुरू हो चुकी है।