आते ही चुनाव गाँव-गाँव में है काँव-काँव
आतिशी प्रपंच कहीं खेड़ा का बखेड़ा है
आम तो है आम, आम आदमी भी बउराया
नाक की लड़ाई ने गरक किया बेड़ा है
सोरस सो रस लेते, ईडी सीबीआई ने भी
बही-खाता जाने किस, किस का उधेड़ा है
देश-धर्म-पीएम को, फिरते जो गरियाते
कल वो फिरेंगे गाते, ईवीएम छेड़ा है
डीपी सिंह