23 December : आज का राशिफल व पंचांग जानें, पं. मनोज कृष्ण शास्त्री से

।।आज का राशिफल एवं पंचांग।।
23 दिसंबर, 2021, गुरुवार

मेष राशि : आज का दिन मिला जुला रहने वाला है। सेहत के नजरिए से थोड़ा परेशान हो सकते है। किसी यात्रा पर जाने का प्लान कैंसिल हो सकता है। बाहर रह रहे बच्चे अचानक घर आ सकते हैं।

वृषभ राशि : नौकरी करने वाले जातकों के लिए आज का दिन अच्छा बीतेगा। परिवार के साथ किसी धार्मिक स्थल पर जा सकते हैं। कार्यस्थल पर बड़े अधिकरियों का सहयोग मिलेगा। लंबे समय से टल रही पदोन्नति मिल सकती है।

मिथुन राशि : आज किसी भी नए काम में हाथ न डालें। माता की तबियत को लेकर चिंतित रहेंगे। नौकरी करने वाले लोग ऑफिस की गुटबाजी से बचें। व्यापार में विपरीत परिस्थितियों से जूझना पड़ सकता है।

कर्क राशि : पिता से किसी जमीन को लेकर मनमुटाव हो सकता है। वाणी और क्रोध पर नियंत्रण रखें। आज किसी फैसले पर न आएं। आध्यात्मिक कार्यों के प्रति लगात रहेगा। कहीं दूर की यात्रा पर जा सकते हैं।

सिंह राशि : पत्नी के साथ ससुराल को लेकर विवाद होने की संभावना है। किसी विवाद के चलते कोर्ट कचहरी में फंस सकते हैं। सामाजिक कार्यों में यश मिलने वाला है।

कन्या राशि : मानसिक रूप से परेशान रहेंगे। जिसकी वजह घर के सदस्यों के साथ मनमुटाव होगा। पत्नी कोई खास बात बता सकती है। कोई अच्छा काम सफल होगा। यात्रा में सावधान रहने की आवश्यकता है।

तुला राशि : संतान की तबीयत चिंता का कारण बनेगी। विद्यार्थियों के लिए दिन अच्छा गुजरेगा। पिता से वित्तीय मदद मिलेगी। किसी साथी से कर्ज लेना पड़ सकता है। आज किसी भी विवाद में पड़ने से बचें। यात्रा से धन हानि होगी।

वृश्चिक राशि : मन विचलित हो सकता है। किसी भी डॉक्यूमेंट्स पर बिना सोचे समझे हस्ताक्षर न करें। बड़ा नुकसान होने के योग है। धन-हानि की संभावना है। छोटे भाई से विवाद हो सकता है। यात्रा का योग है।

धनु राशि : आय बढ़ाने के लिए नौकरी पेशा लोग आज किसी भी बिजनेस में निवेश न करें। सेहत को लेकर निश्चिंत रहेंगे। सामाजिक कार्यों में योगदान बढ़ाएंगे। कार्य में सफलता मिलने वाली है। भाई-बहनों से अच्छा संबंध रहने वाला है।

मकर राशि : माता से आर्थिक सहयोग मिलेगा। घर के किसी सदस्य से आपसी कलह हो सकती है। विद्यार्थी वर्ग को पढ़ाई में दिक्कत आएगी। आंखों से संबंधित समस्या परेशान करेगी। शेयर बाजर में पैसा लगाने से बचें।

कुंभ राशि : मानसिक रूप से स्वस्थ रहने वाले हैं। किसी खास साथी के साथ यात्रा पर जा सकते हैं। मायके से कुछ अच्छा समाचार सुनने को मिलेगा। मन में आध्यात्मिक विचार आएगा। कार्यस्थल पर अच्छा माहौल रहेगा।

मीन राशि : धन के लोभ में फँसने से नुकसान होगा। स्वास्थ्य खराब हो सकता है। धार्मिक गतिविधि में धन खर्च होगा। परिवार के सदस्यों से मतभेद हो सकता है। पूंजी निवेश से बचकर चलना होगा।

।।आज का पंचांग।।

दिनांक – 23 दिसम्बर 2021
दिन – गुरुवार
विक्रम संवत – 2078
शक संवत -1943
अयन – दक्षिणायन
ऋतु – शिशिर
मास – पौस
पक्ष – कृष्ण
तिथि – चतुर्थी शाम 06:27 तक तत्पश्चात पंचमी
नक्षत्र – अश्लेशा 24 दिसम्बर रात्रि 02:42 तक तत्पश्चात मघा
योग – वैधृति दोपहर 12:12 तक तत्पश्चात विष्कंभ
राहुकाल – दोपहर 01:59 से शाम 03:21 तक
सूर्योदय – 07:13
सूर्यास्त – 18:02
दिशाशूल – दक्षिण दिशा में

तुलसी को पानी अर्पण से पुण्य :
अपने घर में तुलसी का पौधा अवश्य लगाना चाहिए उसकी हवा से भी बहुत लाभ होते हैं और तुलसी को एक ग्लास पानी अर्पण करने से सवा मासा सुवर्ण दान का फल मिलता है।

तुलसी पूजन विधि व तुलसी – नामाष्टक :
25 दिसम्बर को सुबह स्नानादि के बाद घर के स्वच्छ स्थान पर तुलसी के गमले को जमीन से कुछ ऊँचे स्थान पर रखें। उसमें यह मंत्र बोलते हुए जल चढायें।
महाप्रसाद जननी सर्वसौभाग्यवर्धिनी
आधि व्याधि हरा नित्यम् तुलसी त्वाम् नमोस्तुते।
फिर ‘तुलस्यै नम:’ मंत्र बोलते हुए तिलक करें, अक्षत (चावल) व पुष्प अर्पित करें तथा वस्त्र व कुछ प्रसाद चढायें। दीपक जलाकर आरती करें और तुलसीजी की ७, ११, २१,५१ व १०८ परिक्रमा करें। उस शुद्ध वातावरण में शांत हो के भगवत्प्रार्थना एवं भगवन्नाम या गुरुमंत्र का जप करें। तुलसी के पास बैठकर प्राणायाम करने से बल, बुद्धि और ओज की वृद्धि होती है।
तुलसी – पत्ते डालकर प्रसाद वितरित करें। तुलसी के समीप रात्रि १२ बजे तक जागरण कर भजन, कीर्तन, सत्संग-श्रवण व जप करके भगवद-विश्रांति पायें। तुलसी – नामाष्टक का पाठ भी पुण्यदायक है। तुलसी – पूजन अपने नजदीकी आश्रम या तुलसी वन में अथवा यथा–अनुकूल किसी भी पवित्र स्थान में कर सकते हैं।
तुलसी – नामाष्टक :
वृन्दां वृन्दावनीं विश्वपावनी विश्वपूजिताम्।
पुष्पसारां नन्दिनी च तुलसी कृष्णजीवनीम्।।
एतन्नामाष्टकं चैतत्स्तोत्रं नामार्थसंयुतम्।
य: पठेत्तां च संपूज्य सोऽश्वमेधफलं लभेत्।।
भगवान नारायण देवर्षि नारदजी से कहते हैं : “वृन्दा, वृन्दावनी, विश्वपावनी, विश्वपूजिता, पुष्पसारा, नंदिनी, तुलसी और कृष्णजीवनी – ये तुलसी देवी के आठ नाम है। यह सार्थक नामावली स्तोत्र के रूप में परिणत है।
जो पुरुष तुलसी की पूजा करके इस नामाष्टक का पाठ करता है, उसे अश्वमेध यज्ञ का फल प्राप्त होता है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, प्रकृति खण्ड से)

जोतिर्विद वास्तु दैवज्ञ
पंडित मनोज कृष्ण शास्त्री
9993874848

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *