बर्लिन। जर्मनी में हो रहे जी-सात देशों के सम्मेलन में अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने कहा कि यूक्रेन पर रूस के हमले के बीच पश्चिमी देशों को एकजुट रहना होगा। उन्होंने कहा कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन चाहते हैं कि पश्चिमी देश इस मामले में बंट जाएं लेकिन ऐसा नहीं होगा। सम्मेलन में शिरकत करते हुए ब्रितानी प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने कहा नेताओं के लिए स्थिति नाजुक धागे पर चलने जैसा है। उन्होंने कहा, “नेटो गठबंधन मज़बूत रहा है और जी-सात समूह भी संगठित रहा है लेकिन ये एकता सुरक्षित रहे इसके लिए जो कुछ हो रहा है। हमारे सहयोगी जिस प्रकार का दवाब झेल रहे हैं, उस बारे में हमें खुलकर ईमानदारी से बात होनी चाहिए। हमें एक साथ मिलकर मुश्किल का हल तलाशना होगा।”
मॉस्को में बेलारूस के राष्ट्रपति एलेक्ज़ेंडर लूकाशेन्को के साथ हुई एक बैठक के बाद पुतिन ने कहा कम दूरी की ये मोबाइल बैलिस्टिक मिसाइलें आने वाले महीनों में बेलारूस पहुंचाई जाएंगी। इसकी रेंज 500 किमोलीटर तक है। उन्होंने कहा, “हमने एक बड़ा फ़ैसला लिया है, आने वाले महीनों में बेलारूस को हम इस्कैन्डर मोबाइल टैक्टिकल मिसाइल सिस्टम देंगे, आपको पता है कि इसके ज़रिए बैलिस्टिक और क्रूज़ दोनों ही तरह की मिसाइलों का इस्तेमाल किया जा सकता है। हम परमाणु क्षमता वाली ऐसी मिसाइलें भी देंगे।”
बता दें किशनिवार की दरमियानी रात को यूक्रेन के उत्तर और पश्चिम में कई मिसाइल हमले हुए थे। इनमें से कुछ बेलारूस की तरफ से दाग़ी गई थीं। बेलारूस सीधे तौर पर युद्ध में शिरकत नहीं कर रहा है लेकिन रूस की मदद कर रहा है। उधर, यूक्रेन ने अपने शहर सेवेरोदोनेत्स्क से यूक्रेनी सेना को पीछे हटा लिया है जिसके बाद ये शहर पूरी तरह से रूस से कब्ज़े में चला गया है। मारियुपोल के बाद ये सबसे बड़ा शहर है जो कई सप्ताह की लगातार बमबारी के बाद अब रूस के हाथों में है।यूक्रेनी अधिकारियों का कहना है कि यहां से बाहर निकलना चाह रहे नागरिक अब केवल रूस की तरफ ही जा सकते हैं।