मदर्स डे स्पेशल : रूम्पा की कविता – “माँ तुम प्रेरणा हो”

माँ तुम प्रेरणा हो जीवन की, तुम ज्योति हो अंधकार मन की, तुम आशा हो

मदर्स डे स्पेशल : अनुपमा की कविता – “सब तुम हो माँ”

सब तुम हो माँ ईश्वर कहीं है तो वो तुम हो माँ। जन्नत कहीं है

मदर्स डे स्पेशल : घनश्याम प्रसाद की कविता – “मां का जीवन”

“मां का जीवन” मेरी माँ है तो आंगन है, तुलसी है, घर है.. चूल्हा है,