मालदा। सरकारी जमीन पर कब्जा कर घर बनाने पर नगर पालिका व प्रशासन ने सख्त कार्रवाई की। ओल्ड मालदा नगर पालिका और प्रशासनिक अधिकारियों ने 2 इमारतों को बुलडोजर से ध्वस्त कर दिया जो सरकारी जमीन पर बनी थी। बुधवार की सुबह ओल्ड मालदा नगर पालिका के सदरघाट इलाके में हुई इस घटना को लेकर तनाव का माहौल बन गया। साहापुर ग्राम पंचायत के भाजपा के पूर्व प्रधान वकील मंडल ने आरोप लगाया कि नगर पालिका और प्रशासनिक अधिकारियों ने निर्माणाधीन मकान के एक हिस्से को अवैध रूप से तोड़ दिया है। यहां तक कि इलाके के एक सामाजिक कार्यकर्ता निताई मंडल ने पोस्टर लेकर अपने साथियों के साथ इस मकान तोड़ने की घटना का विरोध किया।
तनाव को नियंत्रित करने के लिए ओल्ड मालदा थाने का भारी पुलिस बल मौके पर पहुंच गया। इस संबंध में नगर निगम के अध्यक्ष कार्तिक घोष ने कहा, सदरघाट मोड़ के एक इलाके में सरकारी जमीन है जहां एक नया बिजली सब-स्टेशन बनाया जाना है। कोर्ट के आदेश के मुताबिक उस मकान को तोड़ दिया गया है। ओल्ड मालदा नगर पालिका व प्रशासन के सूत्रों के मुताबिक संबंधित नगर पालिका के 18 नंबर सहित कुछ वार्डों में लो-वोल्टेज की समस्या है। इसी को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार ने एक नया विद्युत उपकेन्द्र बनाने की योजना है।
सदरघाट क्षेत्र में उस सरकारी जमीन पर यह सबस्टेशन बनेगा। मकान के मालिक मीरापद मंडल ने कहा, यह मकान मेरे पास 60 साल से है। मकान गिराने को लेकर मुझे कोई आधिकारिक नोटिस नहीं भेजा गया। नगर पालिका और प्रशासन ने बेवजह मेरे घर के एक हिस्से को बुलडोजर से गिरा दिया। मैं इसके खिलाफ कोर्ट का दरवाजा खटखटाऊंगा।’ इस दिन विरोध करने वाले स्थानीय सामाजिक कार्यकर्ता निताई मंडल ने कहा कि उस व्यक्ति के घर को गलत तरीके से तोड़ा गया। हमें लगता है कि यहां कोई राजनीतिक साजिश है।