एक साँझ कविता की – कार्यक्रम की 9वीं कड़ी सम्पन्न

कोलकाता। साहित्यिक सांस्कृतिक संस्था नीलांबर कोलकाता ने आज शाम आईसीसीआर सभागार में एक साँझ कविता की – 9वीं कार्यक्रम का आयोजन किया। नीलांबर संस्था साहित्यिक रचनाओं की प्रस्तुति में नए-नए प्रयोग करने, उसे रुचिकर तरीके से पेश करने के लिए पूरे देश में जानी जाती है। संस्था ने आधुनिक तकनीक का प्रयोग कर साहित्य को आम लोगों के बीच पहुँचाने के लिए लगातार प्रयास किया है। हिंदी के वरिष्ठ कवि कुमार अंबुज ने इस कार्यक्रम की अध्यक्षता की। उनके साथ गगन गिल, अविनाश मिश्र, ज्योति शोभा एवं पार्वती तिर्की ने कार्यक्रम में कविताएं पढ़ीं।

कविता पाठ के अलावा कवियों की कविताओं पर विभिन्न तरह की प्रस्तुतियां की गईं। जिनमें कविता गीत, कविता वीडियो, माइम और कविता कोलाज शामिल रहें। ऋतेश कुमार के निर्देशन में अविनाश मिश्र की कविताओं पर आधारित कोलाज की प्रस्तुति हुई। इस प्रस्तुति में शामिल थे दीपक ठाकुर, निखिल विनय, आरती सेठ, अमित मिश्रा और ज्योति भाारती। युवा गायिका चयनिका गुप्ता ने गगन गिल की कविताओं पर आधारित गीतों की प्रस्तुति की। कुमार अंबुज की कविता पर आधारित माइम प्रस्तुत किया गया।

संस्था के अध्यक्ष यतीश कुमार ने स्वागत वक्तव्य में कहा कि ‘एक साँझ कविता की’ नीलांबर की नींव है। यहाँ हम बंगाल की भूमि से जो कुछ सीख पाये हैं उन चीजों का सदुपयोग हिन्दी कविता के साथ करते हैं। यह एक प्रयोग की तरह ही है। संरक्षक मृत्युंजय कुमार सिंह ने कहा कि हमने साहित्य को बहुविध कला के रस से सींचना सीखा है और वह इसलिए कि आप जैसे पाठक और साहित्य सुधि हमारे साथ जुड़ते हैं, अपना हाथ बढ़ाते हैं। अभिनंदन और आभार आज के सभी कवियों का जिनको हम सुनेंगे, और साथ ही हार्दिक कृतज्ञता उन कवियों के प्रति भी जो ‘एक सांझ कविता की’ के पिछले आठ संस्करणों में इस मंच के भागीदार बने और अपनी कृतियों के पाठ से हमें अभिभूत किया।

सचिव ऋतेश कुमार ने कहा कि नीलांबर की साहित्यिक-सांस्कृतिक यात्रा में रचनाकारों का हमेशा सहयोग मिला है। वे संस्था के उतार-चढ़ाव में हमेशा साथ रहे हैं। वे इसके अभाव और वैभव दोनों में शामिल रहे हैं। कार्यक्रम का संचालन नीलांबर की संस्कृति सचिव ममता पांडेय ने किया। नीलांबर के उपसचिव आनंद गुप्ता ने धन्यवाद ज्ञापन किया। आज के कार्यक्रम में आमंत्रित पांचों कवियों के जीवन एवं उनकी कविता पर आधारित वीडियो भी दिखाया गया।

कविताओं की आवृत्ति ऋतेश कुमार, ममता पांडेय और स्मिता गोयल ने की। कार्यक्रम की तकनीकी टीम के संयोजक थे मनोज झा, विशाल पांडेय, अभिषेक पांडेय और हंस राज। इस कार्यक्रम में अलका सरावगी, प्रबल कुमार बासु, प्रेम मोदी, विनोद प्रकाश गुप्ता सहित बड़ी संख्या में साहित्य प्रेमी, लेखक एवं अध्यापकगण उपस्थित हुए।

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