कोलकाता। शिक्षक नियुक्ति भ्रष्टाचार मामले में गिरफ्तार राज्य के पूर्व शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी की संपत्ति से संबंधित सारे दस्तावेज केंद्रीय प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) उनके अधिवक्ता को सौंपेगी। केंद्रीय एजेंसी के सूत्रों ने इसकी पुष्टि की है। बताया गया है कि सीडी की शक्ल में सारे दस्तावेज डिजिटाइज कर अधिवक्ता को दिया जाएगा। पार्थ चटर्जी के खिलाफ कोर्ट में जो चार्जशीट दाखिल की गई है उसमें ईडी ने बताया है कि न केवल पश्चिम बंगाल और देश के दूसरे राज्यों में बल्कि पार्थ की संपत्ति विदेशों में भी है।
यहां तक कि कुत्ते के रहने के लिए उसने अलग से एक पूरी बिल्डिंग खरीद रखी थी। पार्थ चटर्जी के अधिवक्ता ने सोमवार को अलीपुर कोर्ट में पेशी के दौरान दावा किया था कि चटर्जी की संपत्ति के रूप में जिन दस्तावेजों का जिक्र किया जा रहा है वे हमें उपलब्ध नहीं कराए गए हैं। जब तक वह सारे दस्तावेज नहीं दिए जाएंगे तब तक स्पष्ट नहीं होगा कि वे संपत्ति पार्थ के हैं या नहीं। इसकी जांच अलग से जरूरी है।
इसके बाद ही ईडी ने ये सारे दस्तावेज पार्थ के अधिवक्ता को देने का निर्णय लिया है। चटर्जी के अधिवक्ता सलीम रहमान ने बुधवार को कहा कि पार्थ चटर्जी को केवल जेल में रखने की जुगत केंद्रीय एजेंसी लगा रही है। यहां तक कि ईडी के साथ सीबीआई भी चौतरफा घेराबंदी कर रही है जबकि चटर्जी के खिलाफ कोई नया तथ्य नहीं मिल रहा। दावे किए जा रहे हैं कि उनकी संपत्ति बहुत बड़ी है जो गैरकानूनी रुपये से खरीदी गई है लेकिन संपत्ति के दस्तावेज ही नहीं दिए जा रहे हैं। अगर ईडी ऐसा कोई दस्तावेज देती है तो उसे जांचां जाएगा ताकि यह साफ हो सके कि संपत्ति पार्थ की ही है।