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कोलकाता : भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की पश्चिम बंगाल इकाई के अध्यक्ष दिलीप घोष ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए कहा कि स्थिति हाथ से निकलता देख उन्होंने कोरोना महामारी से निपटने के लिए चार सदस्यीय समिति का गठन कर दिया। बनर्जी ने सोमवार को कोरोना प्रबंधन पर एक मंत्रिमंडलीय समिति के गठन की घोषणा की थी।
इस समिति में वित्त मंत्री अमित मित्रा, शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी, शहरी विकास मंत्री फरहाद हाकिम और स्वास्थ्य मंत्री चंद्रिमा भट्टाचार्य शामिल हैं। घोष ने यहां पत्रकारों से कहा कि इससे पहले उन्होंने समिति का गठन क्यों नहीं किया? इसमें इतना समय क्यों लिया गया? उन्होंने इन मंत्रियों को अभी तक दूर क्यों रखा और इसे एकल शो बना दिया!
यह उनकी आदत है…जब स्थिति उनके काबू से बाहर हो जाती है तो वह इस तरह की समितियों का गठन करती है।’
भाजपा नेता ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री संकट की इस घड़ी में भी राजनीति करने में लिप्त है। घोष ने कहा कि सरकार ने हर परिवार को एक महीने में पांच किलोग्राम चावल और पांच किलोग्राम दाल का वितरण करने का फैसला लिया, लेकिन यह खाद्य सामग्री अपर्याप्त है।
उन्होंने कहा, ‘‘राशन की इतनी थोड़ी मात्रा से एक गरीब परिवार कैसे निर्वाह कर सकता है। यह राशन मुश्किल से केवल एक सप्ताह तक चलेगा। राशन की मात्रा को प्रतिमाह 20 किलोग्राम किया जाना चाहिए। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष ने कहा, ‘‘बनर्जी राज्य के विभिन्न हिस्सों में लॉकडाउन के नियमों को लागू कराने में विफल रही हैं, इसलिए सामुदायिक संक्रमण का खतरा बढ़ रहा है।