कोरोना के क्रूर पंजों से दूर है नारायणगढ़

तारकेश कुमार ओझा, खड़गपुर : घातक रोग कोरोना कोई पैदल चलते हुए भारत की  भूमि तक नहीं पहुंचा, बल्कि यह केंद्र सरकार की अच्छम्य लापरवाहियों का नतीजा है। यह बात तृणमूल कांग्रेस नेता व नारायणगढ़ के विधायक प्रद्युत घोष ने कही। बेलदा स्थित गंगाधर अकादेमी भवन मैं मीडिया से बातचीत के दौरान उन्होंने यह कहा। इस अवसर पर उपस्थित अन्यान्य नेताओं मैं मिहिर चंद्र, कौशेर अली, अखिल बंधु महापात्र, गणेश माईती, तापस महापात्र , मनोज देव तथा प्रतिभा माईती आदि शामिल रही।

कोरोना के सवाल पर भाजपा और केंद्र सरकार को कठघरे में खड़े करते हुए घोष ने कहा कि समय रहते केंद्र ने अंतर्राष्ट्रीय विमान बंद नहीं किए, जिससे कोरोना की समस्या लगातार विकराल और भयावह होती गई। कोई आश्चर्य नहीं कि जल्द ही भारत कोरोना मरीजों के मामले में पहले पायदान पर पहुँच जाए। उन्होंने संतोष व्यक्त करते हुए कहा कि उनके निर्वाचन छेत्र नारायणगढ़ में कोरोना का कोई मामला सामने नहीं आया है।

कोरोना के क्रूर पंजों से अब तक नारायणगढ़ दूर है। इसके बावजूद हम सतर्क हैं। लॉक डाउन के दौरान फंसे लोगों खासकर प्रवासी श्रमिकों को हमने हर संभव सुख – सुविधा प्रदान की। उन्होंने कहा कि कोरोना जैसी घातक महामारी और अम्फान तूफान से हुई तबाही के बीच भाजपा का चुनावी राग और वर्चुअल सभाएं हैरान करने वाली है। क्योंकि यह समय राजनीति का नहीं है, देश संकट से गुजर रहा है। भाजपा का हर मामले में राजनैतिक एंगल ढूंढना दुर्भाग्यपूर्ण है। लॉक डाउन और अम्फान तूफान के दौर में भी भाजपा के  दिमाग में  2021 का विधानसभा चुनाव घूम रहा है।

जबकि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी नागरिकों की  समस्याओं को लेकर चिंतित है। उन्होंने उन लोगों के लिए भी राशन की व्यवस्था की, जिनके पास राशन कार्ड नहीं है। राशनिंग में गड़बड़ी की कोशिश करने वालों को कठोर दंड देकर कड़ा संदेश दिया गया। अम्फान तूफान से हुए नुकसान के उनके दावे पर केंद्रीय प्रतिनिधि दल ने भी मुहर लगा दी है। उन्होंने कहा कि लॉक डाउन और तूफान में  नुकसान सहने वाले नारायणगढ़ के किसानों को समुचित मुआवजा दिलाने की  कोशिश हो रही है।

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