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बीरभूम : करोड़ों की लागत से बने तृणमूल दफ्तर में ऊपर से नीचे तक लगा है मार्बल, जांच में जुटी ईडी

कोलकाता/बीरभूम : राज्य के बहुचर्चित मवेशी तस्करी के मामले में गिरफ्तार बीरभूम जिले के बाहुबली तृणमूल नेता अणुव्रत मंडल फिलहाल तिहाड़ जेल में बंद हैं। उनके खिलाफ धन शोधन की जांच कर रहे प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने जिले के एक तृणमूल दफ्तर पर हुए खर्च की जानकारी जुटानी शुरू की है।‌ तृणमूल नेता स्थानीय नगर पालिका के पार्षद शिवनाथ राय को तीन अक्टूबर से एक सप्ताह के भीतर दिल्ली के ईडी दफ्तर में पूछताछ के लिए हाजिर होने को कहा गया है।

केंद्रीय एजेंसी के एक अधिकारी ने नाम उजागर नहीं करने की शर्त पर बताया है कि बोलपुर शहर में स्थित तृणमूल कांग्रेस का यह दफ्तर तीन मंजिला ऊंचा और भव्य है। इसके प्रत्येक कमले में एसी लगा हुआ है और चारों तरफ से सीसीटीवी कैमरे की मॉनिटरिंग होती है। ऊपर से लेकर नीचे तक दीवार पर मार्बल लगाए गए हैं और फॉल सीलिंग भी हुई है।

इसके अलावा यहां मां काली की एक मूर्ति है जिसे अणुव्रत मंडल जिनका उपनाम केष्टो है, के नाम पर केष्टो काली कहा जाता है। उन्होंने बड़ी मात्रा में सोने के गने पहने हैं।अणुव्रत मंडल ने किया था उद्घाटन पांच साल पहले अणुव्रत मंडल ने इस भव्य तृणमूल दफ्तर का उद्घाटन किया था। तब पत्रकारों ने उनसे पूछा था कि इतनी राशि कहां से आई तो उन्होंने कहा था कि 2013 में मैंने इस बिल्डिंग को फेयर प्राइस (बहुत कम दाम) में खरीदा था।

तब यह दफ्तर वर्तमान में 22 नंबर वार्ड के काउंसलर शिवनाथ राय सहित तृणमूल के तीन अन्य कार्यकर्ताओं के नाम पर रजिस्टर किया गया था। हालांकि बाद में इसे अणुव्रत मंडल की ओर से बनाए गए एक ट्रस्ट को सुपुर्द कर दिया गया था। आरोप है कि मवेशी तस्करी से हासिल हुई राशि का बड़ा हिस्सा उस ट्रस्ट के जरिए ब्लैक से व्हाइट हुआ है और उसी से पार्टी का यह भव्य दफ्तर बनाया गया है। केंद्रीय एजेंसियां फिलहाल अब इन चारों नेताओं से पूछताछ की तैयारी में है।

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