सत्ताधारी दल की कठपुतली बने बंगाल के नौकरशाह: राज्यपाल

कोलकाता। पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने बुधवार को राज्य सरकार पर तीखा हमला बोलते हुए कहा कि नौकरशाह सत्ताधारी पार्टी की कठपुतली बन गए हैं। राज्यपाल और ममता बनर्जी सरकार के बीच तकरार कोई नई बात नहीं है, लेकिन यह पहली बार है जब धनखड़ ने नौकरशाहों के खिलाफ सीधा हमला किया। धनखड़ ने कहा कि अब समय आ गया है कि राज्य सरकार की मौजूदा नौकरशाही और प्रशासनिक व्यवस्था का विरोध किया जाए। धनखड़ ने यह बयान बुधवार दोपहर उत्तर बंगाल के बागडोगरा एयरपोर्ट पर उतरने के बाद मीडिया को दिया और इसके बाद वह दार्जिलिंग के लिए रवाना हो गए।

धनखड़ ने मीडिया से बात करते हुए कहा, नौकरशाह राज्य की सत्ताधारी पार्टी के हाथों की कठपुतली बन गए हैं। राज्य में विपक्ष की आवाज के लिए कोई जगह नहीं है। जब तक हम विरोध नहीं करेंगे यह व्यवस्था कभी नहीं बदलेगी। मैं राज्य के बुद्धिजीवियों और नागरिक समाज के सदस्यों की चुप्पी से दुखी हूं। मेरा उनसे सवाल है कि क्या नौकरशाही व्यवस्था में तुष्टीकरण की अनुमति दी जा सकती है। यह वास्तव में लोकतंत्र के खिलाफ है।

राज्यपाल ने कहा,  हमने पिछले तीन सालों में राज्य में निवेश की लंबी-चौड़ी बातें सुनी हैं। लेकिन हकीकत में अभी तक ऐसा कोई निवेश नहीं हुआ है। अगर हम व्यवस्था के खिलाफ नहीं लड़ेंगे, तो आने वाली पीढ़ी हमें कभी माफ नहीं करेगी। राज्यपाल पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए, तृणमूल कांग्रेस के महासचिव और राज्य के वाणिज्य और उद्योग मंत्री पार्थ चटर्जी ने कहा, राज्यपाल के पास अब केवल दो काम हैं, एक बेवजह राज्य सरकार की आलोचना करना और दूसरा ट्विटर पोस्ट जारी करना।

अगर वह किसी पार्टी के प्रतिनिधि की तरह व्यवहार करते है, तो वह राज्य के राज्यपाल के रूप में अपना सम्मान खो
देंगे। पश्चिम बंगाल विधानसभा अध्यक्ष बिमान बनर्जी ने भी राज्यपाल की आलोचना की। बनर्जी ने कहा, वर्तमान राज्यपाल के पक्षपातपूर्ण व्यवहार के कारण गवर्नर हाउस अपना सम्मान खो रहा है। यहां तक कि जिस तरह से वह गवर्नर हाउस का इस्तेमाल कर रहे हैं, उससे हम भी दुखी हैं।

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