चंडीगढ़। दिल्ली में प्रदर्शनकारी पहलवानों के साथ एकजुटता व्यक्त करते हुए किसानों और खाप पंचायतों के प्रतिनिधियों ने केंद्र सरकार को अल्टीमेटम दिया है। उनका कहना है कि महिला पहलवानों के यौन उत्पीड़न के आरोपी भारतीय कुश्ती संघ (डब्ल्यूएफआई) के प्रमुख बृजभूषण शरण सिंह को 9 जून तक गिरफ्तार किया जाए या बड़े विरोध के लिए तैयार रहें। पहलवानों के विरोध की भविष्य की रणनीति पर हरियाणा के कुरुक्षेत्र में आयोजित महापंचायत में इस संबंध में एक सामूहिक और सर्वसम्मति से फैसला लिया गया है।
एक दिन पहले उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर में एक ‘महापंचायत’ आयोजित की गई थी। जिसमें तय किया गया था कि पहलवानों के लिए न्याय मांगने के लिए एक प्रतिनिधिमंडल राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मिलेगा।कुरुक्षेत्र में राजस्थान, पंजाब, उत्तर प्रदेश और दिल्ली की खाप पंचायतें इंसाफ के लिए इकट्ठी हुईं हैं।
भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के नेता राकेश टिकैत ने एक विशाल सभा को संबोधित करते हुए केंद्र सरकार को चेतावनी दी। टिकैत ने कहा कि अगर 9 जून तक बृजभूषण के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई, तो वे पहलवानों के साथ एक बड़ा विरोध प्रदर्शन करेंगे। हमने निर्णय लिया है कि सरकार को पहलवानों की शिकायतों का समाधान करना चाहिए और आरोपी को गिरफ्तार किया जाना चाहिए।
अन्यथा हम 9 जून को पहलवानों के साथ दिल्ली के जंतर मंतर जाएंगे और पूरे देश में पंचायत करेंगे। साथ ही टिकैत ने केंद्र सरकार को चेतावनी दी कि अगर उन्हें 9 जून को जंतर-मंतर पर प्रदर्शन नहीं करने दिया गया तो आंदोलन की घोषणा की जाएगी। इसके अलावा टिकैत ने मांग की कि नए संसद भवन की ओर मार्च के दौरान जिन पहलवानों के साथ मारपीट की गई और उन्हें हिरासत में लिया गया, उनके खिलाफ दर्ज मामलों को वापस लिया जाना चाहिए।
किसान नेता ने आगे कहा कि हम बृजभूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी से कम पर कोई समझौता नहीं करेंगे। अगर ऐसा नहीं होता है, तो हम 9 जून को जंतर-मंतर जाएंगे और देश भर में पंचायत करेंगे। पहलवानों के खिलाफ मामले वापस लेने चाहिए और बृजभूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी होनी चाहिए।