कोलकाता। एक जिले से दूसरे जिले में ट्रांसलोकेशन करने की प्रक्रिया के दौरान गर्भवती हाथी की मौत से संबंधित याचिका पर कलकत्ता हाईकोर्ट ने मंगलवार को बंगाल सरकार के वन विभाग को रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया। चीफ जस्टिस टी.एस. शिवगणनम और जस्टिस हिरण्मय भट्टाचार्य की खंडपीठ ने याचिकाकर्ता घटना का चश्मदीद गवाह होने का दावा करने वाले वकील द्वारा उठाई गई चिंताओं को ध्यान में रखते हुए आदेश दिया।
याचिकाकर्ता के मुताबिक, वन विभाग ने जानवरों के परिवहन पर तय मानदंडों का पालन नहीं किया, जिसके कारण उनकी मौत हुई। इसलिए विभिन्न राहतों की मांग करते हुए रिट याचिका दायर की गई। सरकारी वकील और मुख्य वन्यजीव वार्डन और संरक्षक, पश्चिम बंगाल सरकार इस मामले में पेश हुए। याचिकाकर्ता जिस राहत का हकदार होगा उस पर विचार करने के लिए यह आवश्यक है कि याचिका में लगाए गए आरोपों के संबंध में चौथे प्रतिवादी द्वारा विस्तृत रिपोर्ट दायर की जाए।
ऐसी रिपोर्ट को हलफनामे के रूप में दाखिल करने पर अदालत इस मामले में आगे के आदेश पारित करने पर विचार करेगी। सभी पक्षों की दलीलें सुनने के बाद न्यायालय ने राज्य अधिकारियों से इस मुद्दे पर विस्तृत रिपोर्ट दाखिल करने को कहा।