कोलकाता। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने सोमवार को कहा कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और राष्ट्रीय कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) नेता शरद पवार अपने-अपने राज्यों में परिवारवाद की राजनीति स्थापित करने के मामले में एक ही सिक्के के दो पहलू हैं। मजूमदार ने उत्तर बंगाल के न्यू जलपाईगुड़ी स्टेशन पहुंचने के बाद मीडिया को संबोधित करते हुए कहा, “पवार जहां अपनी बेटी सुप्रिया सुले को राजनीति में स्थापित करने की कोशिश कर रहे हैं, वहीं ममता बनर्जी अपने भतीजे अभिषेक बनर्जी को लेकर यही कोशिश कर रही हैं।”
उल्लेलेखनीय है कि रविवार को ही पवार के भतीजे और महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता अजीत पवार ने एनसीपी छोड़ दी और मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस की शिवसेना-भारतीय जनता पार्टी सरकार के सत्तारूढ़ गठबंधन में उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ली। उस घटनाक्रम के तुरंत बाद, ममता बनर्जी ने राजनीतिक संकट के इस क्षण में एकजुटता व्यक्त करते हुए शरद पवार को फोन किया।
मजूमदार ने कहा कि पार्टी में परिवारवाद की राजनीति को स्थापित करने के उनके सुप्रीमों के प्रयासों को लेकर राकांपा और तृणमूल कांग्रेस दोनों में ही असंतोष की आवाज उठ रही है। मजूमदार ने कहा, “जबकि पवार अपनी बेटी को स्थापित कर रहे हैं, बनर्जी द्वारा अपने भतीजे को स्थापित करने के लिए इसी तरह के प्रयास किए जा रहे हैं।
इससे उनकी ही पार्टियों में लोग निराश हैं। उन्होंने कहा कि यदि आगामी पश्चिम बंगाल पंचायत चुनाव स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव होते हैं, तो तृणमूल कांग्रेस को संकट का सामना करना पड़ेगा और कई लोग पार्टी छोड़ देंगे। अंततः तृणमूल कांग्रेस का अस्तित्व समाप्त हो जाएगा।