मालदा। दक्षिण दिनाजपुर जिले के बालुरघाट में आदिवासी महिलाओं को रेंगने पर मजबूर करने की घटना के विरोध में सोमवार को 12 घंटे के बंगाल बंद का आह्वान किया है। आदिवासी सेंगेल अभियान संगठन के कार्यकर्ताओं और समर्थकों ने इसके के तहत राज्य के विभिन्न जिलों में सड़क जाम कर दिया। सोमवार की सुबह संगठन के कार्यकर्ताओं व समर्थकों ने मार्च निकाला और ओल्ड मालदा के आठ मील राष्ट्रीय राजमार्ग 34 पर जाम कर विरोध प्रदर्शन किया।
इससे राष्ट्रीय राजमार्ग 34 अवरुद्ध हो गया। परिणामस्वरूप उत्तर बंगाल और दक्षिण बंगाल के साथ संपर्क थोड़ी देर के लिए कट गया। आदिवासियों के 12 घंटे के बंगाल बंद के दौरान किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए भारी पुलिस बल तैनात किया गया था। आदिवासी एकल अभियान के कार्यकर्ता और समर्थक धमसा मदल, तीर-धनुष लेकर नाकाबंदी में शामिल हुए।
संगठन के प्रदेश अध्यक्ष मोहन हांसदा ने कहा कि अगर प्रशासन ने कोई कार्रवाई नहीं की तो यह नाकेबंदी का कार्यक्रम जारी रहेगा। हम चाहते हैं कि घटना के मुख्य आरोपी नेताओं को तत्काल उस व्यक्ति के लिए अनुकरणीय सजा मिले, नहीं तो आने वाले दिनों में पूरे भारत में बड़े पैमाने पर आंदोलन होगा। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए नाकाबंदी स्थल पर भारी पुलिस बल देखा गया।