कोलकाता। फुरफुरा शरीफ के मौलवी और इंडियन सेक्युलर फ्रंट (आईएसएफ) के संस्थापक पीरजादा अब्बास सिद्दीकी अपने एक बयान के लिए विवादों में घिर गए हैं। पीरजादा अब्बास सिद्दीकी ने यह कहकर विवाद खड़ा कर दिया कि बांग्लादेश में दुर्गा पूजा पंडाल में कथित तौर पर कुरान की एक प्रति रखने वालों का सिर काट दिया जाना चाहिए।
वायरल हो रही एक वीडियो में अब्बास सिद्दकी बांग्ला भाषा में यह कहते सुने जा सकते है कि जो लोग बांग्लादेश में एक दुर्गा पूजा पंडाल में एक देवता के चरणों के पास कुरान की एक प्रति रखते हैं, उनका “सिर काट दिया जाना चाहिए”।
पीरजादा अब्बास सिद्दकी ने ये बयान शुक्रवार को पश्चिम बंगाल के नॉर्थ 24 परगना में एक धार्मिक कार्यक्रम के दौरान दिया। अब्बास सिद्दीकी को बांग्ला में यह कहते हुए भी सुना जा सकता है कि मुस्लिम युवा दुर्गा पूजा में शामिल होकर गलत कर रहे हैं। उन्होंने वीडियो में कहा, “मुझे याद है कि कुछ साल पहले दुर्गा पूजा पंडाल की थीम काबा पर भी बनाया गया था। अगर काबा को इतना पसंद किया जाता है तो आप इस्लाम क्यों नहीं अपना लेते।”
जैसे ही पीरजादा अब्बास सिद्दीकी की वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुई, उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक पर एक वीडियो जारी किया कर बांग्लादेश में दुर्गा पूजा पंडाल में कथित रूप से कुरान की एक प्रति रखने के मामले में जांच की मांग की। उन्होंने पंडालों पर हमला करने वालों को कड़ी से कड़ी सजा देने की भी मांग की।
बता दें कि पीरजादा अब्बास सिद्दकी के भाई और पश्चिम बंगाल विधानसभा में भारतीय धर्मनिरपेक्ष मोर्चा (आईएसएफ) के एकमात्र विधायक मोहम्मद नवसाद सिद्दीकी ने बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना को पत्र लिखकर कथित रूप से दुर्गा पूजा पंडाल में कुरान की एक प्रति रखने की घटना की जांच की मांग की है। उन्होंने बांग्लादेशी पीएम से अल्पसंख्यकों के खिलाफ अपराध करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने का भी आग्रह किया।
बांग्लादेश में मंदिरों और दुर्गा पूजा पंडालों पर हुए हमलों को लेकर तृणमूल कांग्रेस और बुद्धिजीवियों के एक वर्ग को निशाना बनाते हुए भारतीय जनता पार्टी ने रविवार को कहा कि उनके पाखंड का खुलासा हो गया है। भाजपा प्रवक्ता समिक भट्टाचार्य ने प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए दावा किया, “ट्विटर पर सक्रिय टीएमसी नेता और उनकी करीबी जानीमानी हस्तियों ने बांग्लादेश में दुर्गा पूजा के दौरान कई जिलों में हिंदुओं पर हुए बर्बर हमलों की निंदा करने के लिए कुछ नहीं कहा।”
उनका इशारा टीएमसी नेता कुणाल घोष की ओर था। भट्टाचार्य ने सवाल किया, “क्या हमारी दुकानों में मोमबत्ती खत्म हो गई थी कि हमने इन हमलों की निंदा करने वाला कोई मोमबत्ती जुलूस नहीं देखा।” उन्होंने पड़ोसी देशों में अल्पसंख्यकों की दशा के बारे में वास्तव में चिंता करने वाली भाजपा को एकमात्र पार्टी बताया। उन्होंने कहा, “हम हिंदुओं के पूजा स्थलों पर जिहादियों के हमलों की सख्त निंदा करते हैं।”
बता दें कि पिछले हफ्ते बांग्लादेश में दुर्गा पूजा समारोहों के दौरान कुछ अज्ञात मुस्लिम उपद्रवियों ने हिंदुओं के कुछ मंदिरों को क्षतिग्रस्त कर दिया, जिसके चलते सरकार को 22 जिलों में अर्द्धसैनिक बलों की तैनाती करनी पड़ी। इन हमलों को रोकने के लिए बांग्लादेश गृह मंत्रालय द्वारा बॉर्डर गार्ड्स बांग्लादेश (बीजीबी) के सैनिकों को देशभर के 22 जिलों में हिंसा को रोकने के लिए तैनात किया गया है।
उन्होंने कहा कि देश के 64 प्रशासनिक जिलों में से 22 में तथा अन्य कहीं भी हिंसा की रोकथाम के लिए बीजीबी के साथ अपराध रोधी रैपिड एक्शन बटालियन (आरएबी) और सशस्त्र पुलिस को भी तैनात रहने का आदेश दिया गया है।