कोलकाता : बंगाल सरकार राज्य में फंसे श्रमिकों को उनके घर भेजने के लिए जरूरी कदम उठा रही है और उनकी वापसी के साधन के बारे में निर्णय करने के लिए संबंधित अधिकारियों से समन्वय कर रही है। यह बात एक वरिष्ठ अधिकारी ने कही। अधिकारी ने बताया कि कई राज्यों ने पश्चिम बंगाल से श्रमिकों को देश के विभिन्न हिस्सों में स्थित उनके गृह स्थान भेजने की व्यवस्था करने का अनुरोध किया है।
इसकी योजना बनायी जा रही है। हम उन संबंधित राज्यों में अधिकारियों से बातचीत कर रहे हैं, जिन्होंने यहां फंसे लोगों की वापसी में मदद का हमसे आग्रह किया है। श्रमिकों को वापस घर ले जाने के लिए एक विशेष ट्रेन के लिए अनुरोध रेलवे से करना होगा।’’ उनमें से कुछ को सड़क मार्ग से वापस भेजने का विकल्प है।
हम इस पर गौर कर रहे हैं। राजस्थान से करीब एक हजार लोग और बिहार, झारखंड और ओडिशा से सैकड़ों लोगों को हाल में उनके घरों को भेजा गया था जो काम करने के लिए बंगाल आये थे। अधिकारी के अनुसार पश्चिम बंगाल सरकार ने उन लोगों को ट्रेन या बस से वापस भेजने पर आने वाले संभावित खर्च के बारे में स्पष्टता मांगी है।
उन्होंने कहा कि खर्च उस स्थान के जिला मजिस्ट्रेट द्वारा वहन किया जा सकता है, जहां से ट्रेन रवाना होती है या जहां समाप्त होती है। अधिकारी टिकट पर हुए खर्च को बाद में आपदा राहत कोष से लेने का अनुरोध कर सकते हैं। पश्चिम बंगाल ने कोरोना वायरस के चलते लागू लॉकडाउन के बीच विभिन्न राज्यों के करीब 50 हजार श्रमिकों को 700 से अधिक राहत शिविरों में आश्रय मुहैया कराया है।