नाट्य कार्यशाला के अंतिम दिन “फेसबुक मैरिज” और “अन्वेषण” नाटकों का हुआ मंचन

तारकेश कुमार ओझा, खड़गपुर। पश्चिम मेदिनीपुर में तीन दिवसीय पारंपरिक नाट्य कार्यशाला का आयोजन विद्यासागर हॉल में किया गया। मेदिनीपुर तरुण थियेटर की पहल के तहत आयोजित इस कार्यशाला में नंदीकर के पूर्व अभिनेता और कोलकाता के ब्लाइंड ओपेरा के निदेशक अशोक प्रमाणिक के नेतृत्व में इस नाट्य शिविर में 43 छात्रों ने भाग लिया। 7 से 70 वर्ष तक के विद्यार्थियों के असीम उत्साह और उमंग से नाट्य कार्यशाला का आयोजन संपन्न हुआ। इस शिविर की एक अन्य विशेषता नाटक पर चर्चा बैठक थी। संगोष्ठी के पहले दिन चर्चा का विषय “बंगाल रंगमंच के 150 वर्ष” था।

वक्ता के रूप में साहित्यकार डॉ. विमल गुड़िया मौजूद रहे। दूसरे दिन परिचर्चा का विषय “बांग्ला रंगमंच का तब और अब” रहा। वक्ता के रूप में डॉ. विवेकानंद चक्रवर्ती मौजूद रहे। प्रख्यात शिक्षाविद् प्रताप नारायण पड़िया ने गुरुवार को कई प्रतिष्ठित लोगों की उपस्थिति में इस नाट्य कार्यशाला का उद्घाटन किया। विद्यासागर विश्वविद्यालय के कुलसचिव जयंत किशोर नंदी व तरुण थियेटर के मुख्य संरक्षक सुजय हाजरा तथा शहर की अन्य गणमान्य हस्तियों ने कार्यशाला के समापन पर विद्यार्थियों को प्रमाण पत्र देकर बधाई दी।

इसके बाद वर्तमान सोशल मीडिया विवाहों पर आधारित कॉमेडी ड्रामा “फेसबुक मैरिज” का मंचन किया गया। नाटक का लेखन और निर्देशन सुरजीत सेन ने किया है। विश्वजीत कुंडू, तारापद दे और शंपा मुखोपाध्याय के त्रुटिहीन प्रदर्शन ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। तीन दिवसीय नाट्य कार्यशाला के समापन पर “अन्वेषण” नाटक का मंचन किया गया। इस नाटक में 43 विद्यार्थियों ने भाग लिया। कुल मिलाकर युवा रंगमंच की इस पहल ने शहरवासियों के मन में एक नया उत्साह पैदा किया है।

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