कोलकाता। कलकत्ता हाईकोर्ट से ममता बनर्जी सरकार को जोरदार झटका लगा है। अदालत ने भारतीय जनता पार्टी (BJP) के नेता शुभेंदु अधिकारी के करीबी राखल बेरा को तुरंत रिहा करने के आदेश दिये हैं। राखाल बेरा को सोमवार को अदालत की एकल पीठ ने जमानत दे दी थी लेकिन मंगलवार को उन्हें एक दूसरे मामले में गिरफ्तार बताया गया था। हालांकि, एकल पीठ ने कहा था कि राखल बेरा को बिना कोर्ट की अनुमति के पश्चिम बंगाल के किसी भी कोने से किसी भी मामले में गिरफ्तार नहीं किया जा सकता है।
राखाल बेरा के वकील लोकनाथ चटर्जी ने कहा कि अदालत में जस्टिस तबब्रत चक्रवर्ती और जस्टिस शुभाशीष दासगुप्ता की खण्ड पीठ ने बेरा को ईस्ट मिदनापुरा जिले में स्थित जेल से तुरंत रिहा करने के आदेश दिये हैं। इस मामले में अगली सुनवाई 26 अगस्त को होगी। आपको बता दें कि जून के महीने में ईस्ट मिदनापुर में कई आपराधिक केसों में बेरा को चार्ज किया गया था। 1 जुलाई को उनके खिलाफ कोलकाता के मानिकतला पुलिस थाने में एक केस दर्ज किया गया था, जिसके बाद उनकी गिरफ्तारी हुई थी।
बोरा के वकील ने बताया कि अदालत में दो जजों की खण्डपीठ ने जस्टिस राजशेखर मांथा के आदेश पर हस्तक्षेप करने से इनकार कर दिया। इस मामले में जजों ने राज्य सरकार के पक्ष में किसी भी तरह का स्टे लगाने से भी इनकार कर दिया। इससे पहले जस्टिस राजाशेखर ने बेरा की जमानत याचिका पर सुनवाई के दौरान अपना आदेश जारी किया था।