तारकेश कुमार ओझा, खड़गपुर : पूर्व मेदिनीपुर जिला अंतर्गत खेजुरी की साहित्यिक और सामाजिक संगठन ‘जोदि जानते’, जो शिक्षक जयदेव माईती द्वारा संचालित है, की ओर से खेजुरी बंदरगाह क्षेत्र में साहित्यिक चर्चा, कविता पाठ, गीत गायन, संवाद और सह – भोज का आयोजन किया गया।
इस अवसर पर आयोजित समारोह में डॉ. रामचन्द्र मंडल, लेखक पार्थसारथी दास, खेजुरी कॉलेज के पूर्व प्राचार्य डॉ. असीम कुमार मन्ना, पूर्व प्रधानाध्यापक शांतिराम दास और रंजीत दास, पूर्व सहायक प्रधानाध्यापक और कवि समुधव दास, स्वपन मंडल डॉक्टर वासव कांति डिंडा, भोलानाथ पाल सहित लगभग डेढ़ सौ कवि और मित्र तथा उनके परिवार और रिश्तेदार एक बड़े भोज में शामिल हुए।
यह वही ऐतिहासिक स्थान है जहां राजा राममोहन राय और द्वारकानाथ टैगोर ने अपनी विलायत यात्रा शुरू की थी और स्थानीय बंगले में रात्रिवास किया था। सभी ने अपने-अपने साहित्य, कविता, अनुभव, जादू और प्राचीन कहावतों की चर्चा कर माहौल को साहित्यिक बना दिया।
आयोजन के औचित्य पर बोलते हुए समुद्भव दास ने कहा, खेजुरी और नंदीग्राम में प्राचीन परंपराएं हैं।
समय के साथ, कई लोगों ने इसके साथ खिलवाड़ किया है, जो पर्यावरण प्रदूषण का कारण बना अशांति बढ़ी। यहां के माहौल को ठीक करने के लिए शिक्षित, मेधावी, साहित्यकार और सामाजिक कार्यकर्ताओं की यह पहल सराहना की पात्र है। आशा है आने वाले दिनों में इसका लाभ खेजुरी को मिलेगा।
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