मुंबई। महाराष्ट्र में सत्ता के बदलते रूप के बीच उप-मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस का एक इंटरव्यू जारी हुआ है। समाचार एजेंसी एएनआई को दिया ये इंटरव्यू 29 जून को रिकॉर्ड हुआ था। इस इंटरव्यू में देवेंद्र फडणवीस ने कहा, ”बेरोज़गारी और महंगाई पर बोलना फैशन बन गया है। ये सही है कि कोरोना और अंतरराष्ट्रीय संकट के दौर में कुछ वक्त के लिए महंगाई बढ़ी थी लेकिन ये फिर सामान्य हो गई थी। पीएम नरेंद्र मोदी महंगाई पर काबू पाने का जो मॉडल है वो पूरी दुनिया में काम कर रहा है।”
फडणवीस बोले, ”इकलौता हमारा देश है जो कोविड के बाद महंगाई पर काबू पा सका है। हम ये नहीं कह रहे कि हर चीज़ सस्ती हो गई है लेकिन जब पूरी दुनिया महंगाई से परेशान है तब भारत इससे अच्छे से निपट सका है।” बेरोज़गारी पर बात करते हुए फडणवीस ने कहा, ”हमने कहा था कि हम 75 हज़ार नौकरियां देंगे।
ऐसा लगता है कि हमने एक लाख से ज़्यादा नौकरी दे सकते हैं। हमने पहले ही पांच से छह हजार नौकरियां दे दी हैं। 18 हज़ार नौकरियां देने की प्रक्रिया जारी है। हम ऐसा करेंगे। इसी इंटरव्यू में जब देवेंद्र फडणवीस से पूछा जाता है कि क्या वो अजित पवार के साथ अभी भी संपर्क में हैं और क्या ये संभव है कि अजित पवार अलग होकर फिर साथ आएं?
इस पर फडणवीस कहते हैं, ”देखिए ताल्लुकात तो हैं हमारे। इसमें कुछ छिपा हुआ नहीं है। अजित पवार क्या, हमारे तो सबके साथ ताल्लुकात हैं। महाराष्ट्र में हम दक्षिण भारत की तरह एक-दूसरे की जान के दुश्मन नहीं हैं। एनसीपी के मालिक शरद पवार जी हैं। उनके बिना ये पार्टी नहीं हिल सकती।
वो अपना मन बना चुके हैं। देश में जो कई दलों की खिचड़ी पक रही है, वो उसमें योगदान देना चाहते हैं। ऐसे में शरद पवार की पार्टी के साथ जाने का सवाल ही नहीं उठता। हमारी सरकार अच्छे से चल रही है। पर हां कोई सामने से आए तो हमारे दरवाज़े खुले हुए हैं।’