#Bengal Violence : बंगाल में चुनाव बाद हुई हिंसा में  सीबीआई ने अबतक 21 मामले किए दर्ज

Kolkata Desk: बंगाल में चुनाव के बाद हुईं हिंसा में CBI ने जांच तेज कर दी है। इस मामले में सीबीआई ने अबतक 21 मामले दर्ज कर लिया है। सूत्रों के मुताबिक, पूरी जांच की निगरानी अतिरिक्त निदेशक रैंक के एक अधिकारी द्वारा की जी रही है। इसमें प्रत्येक टीम में सात सदस्य हैं। जिनमें एक उप महानिरीक्षक और तीन पुलिस अधीक्षक शामिल हैं।

बंगाल में विधानसभा चुनाव के बाद हुई हिंसा के दौरान महिलाओं के खिलाफ अपराध और हत्या के मामलों की जांच के दौरान शनिवार को 10 और मुकदमे दर्ज किए गए हैं। नदिया जिले के छपरा थाना इलाके में भी एक एफआईआर दर्ज की गई है जिसमें 3 लोगों की लोहे के रॉड से पीट-पीटकर हत्या की गई थी, इसमें सीबीआई ने 2 लोगों को हिरासत में भी ले लिया है। विधानसभा चुनाव के बाद हुई हिंसा के मामले में अब तक कुल 21 मामले दर्ज किए गये हैं।

सीबीआई ने संयुक्त निदेशक के नेतृत्व में चार टीमों का गठन किया है और यह टीम हिंसा प्रभावित जिलों का दौरा कर रही है। शुक्रवार तक इस मामले में 11 मुकदमे दर्ज हो चुके थे। सूत्रों के मुताबिक पूरी जांच की निगरानी अतिरिक्त निदेशक रैंक के एक अधिकारी द्वारा की जी रही है। प्रत्येक टीम में सात सदस्य हैं। जिनमें एक उप महानिरीक्षक और तीन पुलिस अधीक्षक शामिल हैं। कलकत्ता हाई कोर्ट के बंगाल में चुनाव के बाद की हिंसा के दौरान महिलाओं के खिलाफ कथित अपराधों व हत्याओं की सीबीआई जांच के आदेश के बाद से सीबीआई अधिकारी अखिलेश सिंह की निगरानी में हो रही है जांच।

सीबीआई ने चुनाव बाद हिंसा मामले की जांच का जिम्मा कोयला और पशु तस्करी अधिकारी अखिलेश सिंह को सौंपी है। अखिलेश सिंह अब स्पेशल क्राइम ब्रांच की अतिरिक्त जिम्मेदारी भी संभाल रहे हैं। उन्हें स्पेशल क्राइम ब्रांच का हेड बनाया गया है। वह हत्या और दुष्कर्म मामले की जांच करेंगे। चुनाव के बाद हुई हिंसा के सिलसिले में सीबीआई ने कुल 64 जांच अधिकारियों को नियुक्त किया है। अब टीम के कुल सदस्यों की संख्या बढ़कर 109 हो गई है।

टीम में कुल 84 जांच अधिकारियों में से आईओ, इंस्पेक्टर और डीएसपी रैंक के अधिकारी हैं। इसके अलावा 25 अधिकारी संयुक्त निदेशक, डीआईजी, एसपी रैंक के हैं। प्रत्येक जोन टीम में 21 जांच अधिकारी या आईओ होंगे। राज्य में पहले ही चार संयुक्त निदेशक स्तर के अधिकारी पहुंच चुके हैं। टीम में ज्यादातर डीआईजी और एसपी रैंक के हैं।

उल्लेखनीय है कि सीबीआई की टीम कोलकाता पहुंचने के बाद मृत भाजपा कार्यकर्ता अभिजीत सरकार के परिवार से मुलाकात की थी। उनके परिवार के सदस्यों ने हत्या का आरोप लगाया था। उस मामले में भी सीबीआई ने केस दर्ज किया है। ज्ञातव्य हो कि इसी साल हुए विधानसभा चुनावों के बाद कथित हिंसा की घटनाओं की स्वतंत्र जांच के अनुरोध वाली जनहित याचिकाओं पर सर्वसम्मति से फैसला सुनाते हुए उच्च न्यायालय के पांच न्यायाधीशों की पीठ ने अन्य सभी मामलों की जांच के लिए एक SIT के गठन का भी आदेश दिया था।

उस मामले में भी प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। सूत्रों के मुताबिक, अभी तक की शुरुआती जांच के बाद बंगाल हिंसा को लेकर सीबीआई द्वारा बनाई गई स्पेशल क्राइम यूनिट को आशंका है कि दो दर्जन से ज्यादा वारदातें पूरे बंगाल हुई हैं, जिनमें फॉरेंसिक टीम की मदद ली जायेगी। साथ ही सीबीआई जांच के दौरान केस डायरी की जानकारियां लेकर बंगाल पुलिस के बयान भी दर्ज करेगी। जरूरत पड़ने पर 164 सीआरपीसी के तहत चश्मदीदों के बयान भी दर्ज करेगी।

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