ब्रह्म मुहूर्त में लखनऊ पहुंची अखिलेश की विजय रथ यात्रा

लखनऊ। समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे पर लगभग 16 घंटे का सफर तय कर समाजवादी विजय रथ यात्रा के साथ आज गुरुवार को सुबह चार बजे लखनऊ पहुंचे। पूरी रात चली यात्रा के तमाम पड़ावों पर जोश से भरे पार्टी कार्यकर्ताओं का हुजूम उमड़ता रहा। लखनऊ सीमा पर यात्रा के इस चरण के समापन पर अखिलेश ने कार्याकर्ताओं को संबोधित करते हुये कहा, “यह एक पड़ाव मात्र है। लखनऊ में साइकिल की सरकार बनने तक विजय यात्रा चलती रहेगी।” उल्लेखनीय है कि 16 नवंबर को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 341 किमी लंबे पूर्वांचल एक्सप्रेस वे का उद्घाटन किया था।

सपा ने इस एक्सप्रेस वे पर 16 नवंबर को ही गाजीपुर में अखिलेश का रोड शो एवं रैली करने की अनुमति मांगी थी, लेकिन गाजीपुर प्रशासन नेसुरक्षा कारणों से उन्हें अनुमति देने से इंकार कर दिया था। इसके जवाब में एक्सप्रेस वे से जुड़े सभी नौ जिलों के सपा कार्यकर्ताओं ने अखिलेश के आह्वान पर नवनिर्मित एक्सप्रेस वे पर पुष्पवर्षा कर इसका मंगलवार को सांकेतिक उद्घाटन किया। इसके बाद 17 नवंबर को अखिलेश यादव ने गाजीपुर से लखनऊ तक पूर्वांचल एक्सप्रेस वे पर गाजीपुर से लेकर लखनऊ तक विजय रथ यात्रा निकालने की घोषणा कर दी।

कल गाजीपुर में मोहम्मदाबाद के पखनपुर में अखिलेश की जनसभा के साथ ही विजय रथ यात्रा गाजीपुर से शुरु होकर मऊ, आज़मगढ़, अम्बेडकर नगर, अयोध्या, सुल्तानपुर, अमेठी, बाराबंकी होते हुये आज सुबह चार बजे लखनऊ पहुंची। हालांकि रात भर चली यात्रा के कारण कुछ स्थानों पर लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा। सुल्तानपुर में एक्सप्रेस वे पर निर्धारित पड़ाव पर अखिलेश की यात्रा के समय से नहीं पहुंच पाने के कारण लोगों को मायूस होना पड़ा। सुलतानपुर से प्राप्त जानकारी के अनुसार मंगलवार को नरेंद्र मोदी द्वारा एक्सप्रेस वे के लोकार्पण के जवाब में आयोजित सपा की जनसभा में अखिलेश के न पहुंच पाने से कार्यकर्ता मायूस होकर वापस लौटे।

देर रात 12 बजे यात्रा पहुंचने की उम्मीद में पार्टी के सिर्फ वरिष्ठ पदाधिकारी इंतजार करते रहे। सुलतानपुर जिले के जयसिंहपुर विधानसभा के अरवलकीरी करवत में कल दोपहर 12 बजे अखिलेश को विजय रथ यात्रा के रोड शो के साथ जनसभा में हिस्सा लेना था। दोपहर 12 बजे से भारी संख्या में पहुंचे समर्थक और कार्यकर्ताओं को घंटों इंतजार करने के बाद रात को वापस लौटना पड़ा।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

sixteen + fourteen =