संत कबीर जयंती विशेष…
‘एकहि जोति सकल कपात, व्यापक दूजा तत्व न होई’ अर्थात, ‘मान, महत्व, प्रेम गुण और
रक्षाबंधन पर विशेष…
“ॐ येन बद्धो बली राजा दानवेन्द्रो महाबल:। तेन त्वामपि बध्नामि रक्षे मा चल मा चल।।”
‘एकहि जोति सकल कपात, व्यापक दूजा तत्व न होई’ अर्थात, ‘मान, महत्व, प्रेम गुण और
“ॐ येन बद्धो बली राजा दानवेन्द्रो महाबल:। तेन त्वामपि बध्नामि रक्षे मा चल मा चल।।”