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नयी दिल्ली। केन्द्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा बुधवार को लोकसभा में पेश वर्ष 2023-24 के आम बजट में भारत को विकसित राष्ट्र बनाने के लिए अनेक नयी योजनाओं की घोषणा की गयी है। नयी योजनाओं के तहत घोषित प्रधानमंत्री विश्वकर्मा कौशल सम्मान योजना में पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों के लिए पहली बार सहायता पैकेज का प्रावधान किया गया है। यह योजना उन्हें अपने उत्पादों की गुणवत्ता, पैमाने और पहुंच में सुधार लाने तथा मूल्य श्रंखला के साथ जुडृने में मदद करेगी।
योजना वित्तीय सहायता, उन्नत कौशल प्रशिक्षण, आधुनिक तकनीकी जानकारी, वैश्विक बाजारों के साथ संयोजन और सामाजिक सुरक्षा के प्रति सुलभता प्रदान करेगी। इससे अनुसूचित जातियों, जनजातियों, अन्य पिछड़ा वर्ग, महिला तथा कमजोर वर्ग के लोगों को फायदा होगा। इसी तरह बजट में कृषि क्षेत्र के लिए डिजिटल पब्लिक इन्फ्रास्ट्रक्चर बनाने की घोषणा की गयी है।
इससे फसल नियोजन, रिण और बीमा, फसल आकलन के लिए सहायता, मार्केट इंटेलीजेंस, एग्री टेक इंडस्ट्री एव स्टार्ट अप के विकास के लिए समर्थन के माध्यम से समावेशी किसान केन्द्रित समाधान संभव हो पायेंगे। इसके अलावा ग्रामीण क्षेत्रों में कृषि स्टार्ट अप खोलने को बढावा देने के लिए कृषि वर्धक निधि स्थापित की जायेगी । इस निधि का उद्देश्य किसानों की चुनौतियों का किफायती तरीके से समाधान उपलब्ध कराना है।
यह कृषि पद्तियों को बदलने , उत्पादकता एवं लाभ को बढाने के लिए आधुनिक प्रौद्योगिकी लेकर आयेगी।
बच्चों और किशोरों के लिए अलग अलग क्षेत्रों, भाषाओं, विषयों और स्तरों में गुणवत्तापूर्ण पुस्तकें विभिन्न उपकरणों के माध्यम से उपलब्ध कराने के लिए एक राष्ट्रीय डिजिटल पुस्तकालय की स्थापना की जायेगी। दूसरी और तीसरी श्रेणी के शहरों में अवसंरचना के लिए शहरी अवसंरचना विकास निधि की स्थापना की जायेगी।
साथ ही देश में कृत्रिम बुद्धिमत्ता के लिए इकोसिस्टम बनाने के लिए शीर्ष शैक्षिक संस्थानों में कृत्रिम बुद्धिमत्ता के लिए तीन उत्कृष्टता केन्द्र स्थापित किया जायेगा। इससे गुणवत्तापूर्ण मानव संसाधनों को प्रशिक्षित किया जा सकेगा। बजट के अनुसार अगले तीन वर्षों में एक करोड़ किसानों को प्राकृतिक खेती अपनाने के लिए सहायता दी जायेगी। राष्ट्रीय स्तर पर वितरित सूक्ष्म उर्वरक और कीटनाशक विनिर्माण नेटवर्क बनाते हुए 10 हजार बायो इनपुट संसाधन केन्द्र स्थापित किये जायेंगे।
वित्तीय और संबंधित सूचना की केन्द्रीय रिपोजटरी के रूप में काम करने के लिए एक राष्ट्रीय वित्तीय सूचना रजिस्ट्री स्थापित की जायेगी। इससे रिण का प्रवाह बढेगा, वित्तीय समावेशन को बढावा मिलेगा और वित्तीय स्थिरता बढेगी। आजादी के अमृत महोत्सव की याद में मार्च 2025 तक दो वर्ष की अवधि के लिए नयी लघु बचत योजना, महिला बचत प्रमाण पत्र उपलब्ध कराया जायेगा। यह महिलाओं या बालिकाओं के लिए होगा और दो वर्ष की अवधि के लिए इसमें 7.5 प्रतिशत की दर से ब्याज दिया जायेगा।