
कोलकाता: पश्चिम बंगाल में हाल ही सरकार ने कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। ममता बनर्जी सरकार का कहना है जितनी भी पुरानी प्रोत्साहन दूसरी भाषा में राज्य में भारी या हल्के उद्योगों के लिए जितनी भी प्रोत्साहन स्कीम चलाए जा रहे हैं, उनको बंद किया जाएगा और नए स्कीम की घोषणा की जाएगी।
इसमें राज्य में आधुनिक तौर पर आधारित योजना से राज्य में उद्योगों को लगाने को लिए योजना लाया जाएगा।
दरअसल, भारी उद्योगों के लिए 1993-2013 की अवधि के दौरान शुरू की गई आठ प्रोत्साहन योजनाओं को रद्द कर दिया है। सरकार की ओर से कहा गया है कि औद्योगिक इकाइयों की स्थापना को प्रोत्साहित करने के लिए एक आधुनिक योजना की रूपरेखा तैयार की जाएगी।
इसकी जानकारी मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने विधानसभा में दिया। उन्होंने विधानसभा में पश्चिम बंगाल प्रोत्साहन योजनाओं और दायित्वों के निरसन विधेयक पर चर्चा में भाग लिया।
उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि अनुदान और प्रोत्साहन की प्रकृति पिछले 20-25 वर्षों में स्थिति बहुत बदल गई है। पूर्ववर्ती वाम मोर्चा सरकार द्वारा शुरू किए गए कुछ प्रोत्साहन “अप्रासंगिक” हो गए हैं और उन्हें वापस ले लिया गया है।
बनर्जी ने कहा, ‘अब, एआई तकनीक पर विभिन्न कार्य किए जा रहे हैं। उद्योग में कई नए विचार और दृष्टिकोण जोड़े गए हैं। इसलिए, सभी संबंधित पक्षों की राय के साथ एक नई नीति लाई जा रही है।’
उन्होंने कहा कि आधुनिक योजना तैयार करने में क्या-क्या शामिल किया जाना चाहिए, इस पर विचार करने के लिए मुख्य सचिव के नेतृत्व में एक समिति गठित की गई है।
उन्होंने कहा कि समिति एक महीने के भीतर अपनी राय देगी और उसके अनुसार आधुनिक योजना तैयार की जाएगी।
मुख्यमंत्री ने यह भी दावा किया कि सरकार ‘न केवल पिछली वाम मोर्चा सरकार द्वारा लगाए गए कर्ज के बोझ” से पीड़ित है, बल्कि “विभिन्न अस्थिर नीतियों के परिणामों’ से भी पीड़ित है।
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