कोलकाता | 25 अक्टूबर 2025: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने राज्य के सभी सरकारी अस्पतालों में सुरक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ करने के निर्देश दिए हैं। यह फैसला कोलकाता और उलूबेरिया के अस्पतालों में नाबालिग लड़की और महिला डॉक्टर से छेड़छाड़ की घटनाओं के बाद लिया गया है।
📌 उच्चस्तरीय बैठक के मुख्य बिंदु:
- अध्यक्षता: मुख्य सचिव मनोज पंत
- उपस्थित अधिकारी:
– डीजीपी राजीव कुमार
– स्वास्थ्य सचिव एन. एस. निगम
– सभी जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक, सरकारी अस्पतालों के अधीक्षक, और मेडिकल कॉलेजों के प्राचार्य
बैठक की अध्यक्षता मुख्य सचिव मनोज पंत ने की। अधिकारियों को निर्देश दिया गया कि जल्द से जल्द एक विस्तृत एक्शन प्लान तैयार कर सरकार को सौंपें, ताकि अस्पतालों की सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत किया जा सके।
🛡️ मुख्यमंत्री के निर्देश:
- ‘जीरो टॉलरेंस’ नीति — उत्पीड़न या बदसलूकी के मामलों में कोई ढील नहीं
- सुरक्षा में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी
- सभी अस्पतालों में विस्तृत एक्शन प्लान तैयार कर सरकार को सौंपने का आदेश
- सुरक्षा कोष्ठक मजबूत करने, सीसीटीवी निगरानी, और सुरक्षाकर्मियों के बैकग्राउंड चेक की योजना
सरकार ने कुछ प्रमुख कदमों की रूपरेखा तय की है, अस्पतालों में सीसीटीवी कैमरे हर समय चालू रहें, कोई कैमरा खराब मिले तो तुरंत बदला जाए।

इसके तहत अस्पताल परिसर में पर्याप्त रोशनी की व्यवस्था हो। नए कर्मचारियों की भर्ती से पहले उनका पिछला रिकॉर्ड ठीक से जांचा जाए।
📌 प्रशासनिक पहल:
- सभी सुरक्षाकर्मियों को पहचान पत्र, वर्दी और प्रशिक्षण अनिवार्य
- प्रवेश नियंत्रण प्रणाली को और सख्त किया जाएगा
- मरीजों के रिश्तेदारों से दुर्व्यवहार की शिकायतों पर तत्काल कार्रवाई होगी
सभी कर्मचारियों के लिए यूनिफॉर्म अनिवार्य की जाए और ड्यूटी रोस्टर सख्ती से लागू हो, ताकि यह साफ रहे कि कौन कब अस्पताल में मौजूद है। सुरक्षा कर्मियों और स्टाफ को प्रशिक्षण दिया जाए।
ताकि वे ऐसी घटनाओं को रोक सकें। इस बैठक में यह भी तय हुआ कि सुरक्षा व्यवस्था की निगरानी नियमित रूप से की जाएगी और किसी भी लापरवाही पर सख्त कार्रवाई होगी।
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