लखनऊ : कला शिविर में शामिल होंगे भूपेंद्र अस्थाना

लखनऊ। ईस्टर्न फाउंडेशन ऑफ आर्ट एंड कल्चर (EFAC) ने विद्या ज्ञान, सीतापुर के सहयोग से अपनी 9वीं अखिल भारतीय वार्षिक कला प्रदर्शनी एवं आर्ट कैंप – 2025 का आयोजन किया है। यह भव्य आयोजन 6 से 8 नवम्बर 2025 तक विद्याज्ञान, सीतापुर (उत्तर प्रदेश) परिसर में आयोजित हो रहा है, जिसमें देशभर से आए प्रतिष्ठित प्रोफेशनल कलाकारों और विद्यार्थियों की उत्कृष्ट कलाकृतियाँ प्रदर्शित की जा रही हैं। यह प्रदर्शनी भारतीय कला की विविधता, रचनात्मकता और सृजनशील अभिव्यक्ति का सशक्त मंच बन रही है।

कला शिविर में लखनऊ के कलाकार भूपेंद्र कुमार अस्थाना के अलावा देश के वरिष्ठ और प्रतिभाशाली कलाकार अमित कल्ला (जयपुर), डॉ. शगुफ्ता खानम (लखनऊ), प्रतीक मिश्रा (सीतापुर), डॉ. नीरजा चंदना पीटर्स (नई दिल्ली), टिकम खंडप्पा (जोधपुर), आर्यप्रज्ञा बासबदत्ता (बालासोर), अर्चना जेना (ओडिशा), सस्मिरेखा पात्र (रांची), यतीश कासरगड़ (केरल) और प्रदीप्त के. दास (जोधपुर) भाग ले रहे हैं, जो अपने अनुभव और सृजनशील दृष्टिकोण से कला संवाद को नई दिशा दे रहे हैं।

भूपेंद्र अस्थाना, जो लखनऊ के चित्रकार और कला समीक्षक हैं, इस कला शिविर में अपनी रचनात्मक उपस्थिति देंगे। उनकी कला दृष्टि और मार्गदर्शन से यह शिविर और अधिक अर्थपूर्ण तथा संवादमूलक बनेगा। इस आयोजन के क्यूरेटर रघुनाथ जेना हैं।

इस अवसर पर कला के विविध रूपों का एक सुंदर संगम देखने को मिल रहा है, जहाँ युवा सृजनशीलता और अनुभवी कलात्मक दृष्टि एक ही मंच पर संवाद करती दिखाई देती हैं। प्रदर्शनी के अंतर्गत पुरस्कृत कलाकारों की घोषणा भी की गई है।

प्रोफेशनल श्रेणी में ग्राफिक कैश अवॉर्ड अंकुर कुमार (दिल्ली), पेंटिंग कैश अवॉर्ड डॉ. सूर्यस्नता मोहंती (नई दिल्ली) और प्रीता गडकरी (इंदौर), ड्रॉइंग कैश अवॉर्ड डॉ. नीरजा चंद्रा पीटर्स (नई दिल्ली) तथा हाईली कमेंडेड अवॉर्ड सस्मिरेखा पात्रा (रांची) को प्राप्त हुआ है।

छात्र श्रेणी में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शनी कैश अवॉर्ड शंकसुभ्र जन (पूर्व मेदिनीपुर), सर्वश्रेष्ठ पेंटिंग कैश अवॉर्ड कृष्णपद मैती (पूर्व मेदिनीपुर), सर्वश्रेष्ठ ड्रॉइंग कैश अवॉर्ड मधुस्मिता उपाध्याय (बालासोर) और राजकिशोर डिंडा (ओडिशा), तथा सर्वश्रेष्ठ ग्राफिक कैश अवॉर्ड स्तिति प्रज्ञा साहू (बालासोर) को मिला है।

इसके अतिरिक्त हाईली कमेंडेड अवॉर्ड के अंतर्गत संजुक्ता घोष (झाड़ग्राम, पश्चिम बंगाल), चिन्मय पांडा (बालासोर), टिन्नी मोहापात्र (पश्चिम मेदिनीपुर), भूमिका बाग (बालासोर) और अभिजीत दास (चंडीगढ़) को सम्मानित किया गया है।

कलाकृतियों का मूल्यांकन वरिष्ठ कला विशेषज्ञों प्रो. जयकृष्ण अग्रवाल और भूपेन्द्र कुमार अस्थाना द्वारा किया गया, जिन्होंने अपनी गहन कलात्मक दृष्टि से चयन प्रक्रिया को गरिमा प्रदान की। यह प्रदर्शनी न केवल युवा और उभरते कलाकारों को स्थापित कलाकारों के साथ समान मंच प्रदान करती है, बल्कि सृजनात्मकता, कलात्मक आदान-प्रदान और अभिव्यक्ति के नए आयाम भी खोलती है।

ईस्टर्न फाउंडेशन ऑफ आर्ट एंड कल्चर (EFAC) अपने ऐसे आयोजनों के माध्यम से भारतीय कला के भविष्य को सशक्त बनाने, नई पीढ़ी में रचनात्मक चेतना जागृत करने और कला को सामाजिक-सांस्कृतिक संवाद के केंद्र में स्थापित करने की दिशा में निरंतर अग्रसर है, जहाँ कला केवल प्रदर्शन नहीं, बल्कि विचार, संवेदना और सृजन का उत्सव बन जाती है।

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